UP बोर्ड गणित - अध्याय 11: त्रिविमीय ज्यामिति के Handwritten नोट्स
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UP बोर्ड कक्षा 12 वी गणित - अध्याय 11: त्रिविमीय ज्यामिति के Handwritten नोट्स

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त्रिविमीय ज्यामिति वह गणितीय शाखा है जो तीन आयामों में बिंदुओं, रेखाओं, सतहों, और अन्य ज्यामितीय संरचनाओं के गुण और उनके आपसी संबंधों का अध्ययन करती है। यह क्षेत्र रेखाओं, वृत्तों, तल और त्रिविमीय आंकड़ों के गुण, परिमाण और दिशा को समझने में मदद करता है, जिनका उपयोग गणना, भौतिकी, अभियांत्रिकी, और वास्तुकला में किया जाता है।

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मुख्य बिंदु (Key Points):

  1. त्रिविमीय निर्देशांक प्रणाली (Three-dimensional Coordinate System): त्रिविमीय ज्यामिति में बिंदुओं को तीन आयामों में व्यक्त किया जाता है: लंबाई (x), चौड़ाई (y), और ऊँचाई (z)। इन तीनों आयामों के द्वारा एक बिंदु को (x,y,z)(x, y, z) के रूप में दर्शाया जाता है, जहाँ x, y, और z बिंदु के क्रमशः तीन निर्देशांक होते हैं।

  2. बिंदु (Point): त्रिविमीय ज्यामिति में बिंदु का कोई आकार नहीं होता, लेकिन उसकी स्थिति को तीन निर्देशांकों द्वारा दर्शाया जाता है। बिंदु का प्रतिनिधित्व P(x,y,z)P(x, y, z) द्वारा किया जाता है।

  3. रेखा (Line): त्रिविमीय ज्यामिति में रेखा दो बिंदुओं के बीच एक निरंतर विस्तार को दर्शाती है। रेखा का सामान्य समीकरण parametric रूप में होता है, जहाँ बिंदु के लिए किसी दिशा के अनुसार हर एक बिंदु का निर्धारण किया जाता है।

  4. विमान (Plane): विमान दो परस्पर प्रतिच्छेद करने वाली रेखाओं द्वारा बनता है और यह दो आयामों का विस्तार करता है। विमान का सामान्य समीकरण तीन निर्देशांकों के माध्यम से व्यक्त किया जाता है, जो विमान के सामान्य वेक्टर के आधार पर होता है।

  5. दूरी (Distance): त्रिविमीय ज्यामिति में दो बिंदुओं के बीच की दूरी का निर्धारण विशेष सूत्र के माध्यम से किया जाता है। यदि दो बिंदु P1(x1,y1,z1)P_1(x_1, y_1, z_1) और P2(x2,y2,z2)P_2(x_2, y_2, z_2) हों, तो उनकी दूरी को त्रिविमीय पythागोरस प्रमेय के आधार पर गणना किया जा सकता है।

  6. कोण (Angle): त्रिविमीय ज्यामिति में दो रेखाओं या रेखा और विमान के बीच का कोण एक महत्वपूर्ण तत्व होता है। यह कोण डॉट प्रोडक्ट या क्रॉस प्रोडक्ट विधियों से गणना किया जा सकता है।

  7. सतह (Surface): त्रिविमीय ज्यामिति में विभिन्न प्रकार की सतहें होती हैं, जैसे कि गोलाकार सतह, समतल सतह, या वक्र सतह। सतहों के समीकरणों को तीन आयामों में व्यक्त किया जाता है और इन्हें विभिन्न गुणों द्वारा परिभाषित किया जाता है।

  8. त्रिविमीय ज्यामिति के अनुप्रयोग (Applications): त्रिविमीय ज्यामिति का उपयोग भौतिकी, अभियांत्रिकी, वास्तुकला, रॉकेट विज्ञान, कंप्यूटर ग्राफिक्स, और अन्य क्षेत्रों में किया जाता है। यह तीन आयामों में वस्तुओं के स्थान, आकार, और गति के अध्ययन में सहायक है।

निष्कर्ष (Conclusion):

त्रिविमीय ज्यामिति गणित का एक महत्वपूर्ण और व्यापक क्षेत्र है, जो तीन आयामों में बिंदुओं, रेखाओं, विमानों और सतहों के गुणों का अध्ययन करता है। यह न केवल गणितीय समस्याओं को हल करने में उपयोगी है, बल्कि विभिन्न भौतिक और इंजीनियरिंग अनुप्रयोगों में भी इसका व्यापक उपयोग है। त्रिविमीय ज्यामिति के सिद्धांतों और विधियों का ज्ञान आधुनिक विज्ञान और प्रौद्योगिकी में कार्य करने के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है।

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