बिहार बोर्ड कक्षा 9 वी विज्ञान - अध्याय 1: हमारे आस-पास के पदार्थ की NCERT Book
"हमारे आस-पास के पदार्थ" कक्षा 9 का एक महत्वपूर्ण अध्याय है, जिसमें हम अपने चारों ओर के विभिन्न पदार्थों के बारे में सीखते हैं। यह अध्याय पदार्थों के विभिन्न रूपों, उनकी अवस्थाओं (ठोस, द्रव, गैस) और उनके गुणों पर आधारित है। इसके माध्यम से हम पदार्थों के वर्गीकरण और उनके उपयोगों के बारे में समझ पाते हैं।
महत्वपूर्ण बिंदु:
पदार्थों का वर्गीकरण:
- पदार्थों को तीन अवस्थाओं में बांटा जाता है: ठोस, द्रव और गैस।
- ठोस: इसमें निश्चित आकार और आयतन होता है, जैसे लकड़ी, लोहे का टुकड़ा।
- द्रव: इसमें निश्चित आयतन होता है, लेकिन इसका आकार परिवर्तित हो सकता है, जैसे पानी, तेल।
- गैस: इसमें न तो निश्चित आकार होता है और न ही आयतन, जैसे हवा, ऑक्सीजन।
पदार्थों के गुण:
- ठोस पदार्थ: ठोस पदार्थों के कण एक-दूसरे से बहुत पास होते हैं, इसलिए ये अपने आकार और आयतन को बनाए रखते हैं।
- द्रव पदार्थ: द्रव पदार्थों के कण थोड़ा दूर होते हैं, जिससे वे एक-दूसरे पर असर डालते हुए आकार बदल सकते हैं।
- गैस पदार्थ: गैसों के कण बहुत दूर होते हैं, इस कारण ये आसानी से फैल जाते हैं और कोई निश्चित आकार नहीं रखते।
विस्तार और संकुचन:
- ठोस, द्रव और गैसों का विस्तार और संकुचन उनके तापमान के अनुसार होता है। जैसे गर्म करने पर पदार्थों का आकार बढ़ता है और ठंडा करने पर घटता है।
पदार्थों की अवस्थाएँ:
- पदार्थों की अवस्था (ठोस, द्रव, गैस) उनके तापमान और दबाव पर निर्भर करती है। उदाहरण स्वरूप, पानी का ठोस रूप बर्फ होता है, द्रव रूप पानी और गैसीय रूप भाप होता है।
परिवर्तन:
- पदार्थ एक अवस्था से दूसरी अवस्था में बदल सकते हैं। जैसे, बर्फ का पानी में और पानी का भाप में परिवर्तन।
पदार्थों की विशेषताएँ:
- प्रत्येक पदार्थ की अपनी विशिष्टता होती है, जैसे उसके रंग, घनत्व, बर्फ का गलनांक, पानी का उबालनांक, आदि।
निष्कर्ष:
"हमारे आस-पास के पदार्थ" अध्याय हमें यह समझने में मदद करता है कि पदार्थ हमारे चारों ओर किस रूप में होते हैं और उनकी अवस्थाएँ कैसे बदल सकती हैं। इस अध्याय से हमें पदार्थों की अवस्थाओं, उनके गुण और उनके बीच होने वाले परिवर्तनों के बारे में गहरी जानकारी मिलती है। यह अध्ययन न केवल विज्ञान के दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है, बल्कि हमारे दैनिक जीवन में उपयोग होने वाले पदार्थों के बारे में जागरूकता भी बढ़ाता है।